CG TEACHER JOB – होने वाले 33 हज़ार शिक्षक भर्ती परीक्षा से जुड़ी बड़ी खबर …पासिंग मार्क्स में हुआ संशोधन।
CG TEACHER JOB – कुछ दिनों पूर्व स्कूल एवं उच्च शिक्षा मंत्री बृजमोहन अग्रवाल द्वारा 33000 शिक्षक भर्ती का घोषणा किया गया जिसके पश्चात अब प्रक्रिया तेज हो गई है। वहीं इससे जुड़ी बड़ी खबर सामने आई है कि परीक्षार्थियों के पासिंग मार्क्स में संशोधन कर बढ़ा दिया गया है।
CG TEACHER JOB – चुनाव से पूर्व विज्ञापन जारी होने की आशा –
स्कूल शिक्षा विभाग ने शिक्षकों की मेगा भर्ती के लिए गुणवत्ता को महत्वपूर्ण मानते हुए भर्ती शर्तों में कई संशोधन करने का निर्णय लिया है। इसके लिए, स्कूल शिक्षा मंत्री बृजमोहन अग्रवाल के अनुमोदन के बाद, संशोधनों की स्वीकृति के लिए सामान्य प्रशासन विभाग को भेजा गया है। आचार संहिता के लागू होने से पहले भर्ती विज्ञापन जारी होने की आशा है, जिससे भर्ती प्रक्रिया स्मूदता से चले। CG TEACHER JOB पिछली सरकार ने 12489 शिक्षकों के पदों के लिए विज्ञापन निकाला था, जिसमें कई महत्वपूर्ण शर्तों में छूट दी गई थी। इसके बावजूद, जीएडी के अनुमोदन की जल्दी की उम्मीद है।
CG TEACHER JOB – 50 प्रतिशत होगा पासिंग मार्क्स –
कांग्रेस सरकार ने शिक्षक भर्ती में पासिंग मार्क्स 50 प्रतिशत से कम कर 45 प्रतिशत कर दिया था। इस फैसले के बाद, उम्मीदवारों के लिए नए दरवाजे खुले और शिक्षक भर्ती प्रक्रिया में बदलाव का सामना किया। इसका मकसद शिक्षकों की संख्या में वृद्धि करना था, जिससे शिक्षा क्षेत्र में विशेषज्ञता के साथ-साथ नए और प्रतिभाशाली उम्मीदवारों को मौका मिले। इस नई नीति के अनुसार, अब उम्मीदवारों को पास होने के लिए 50 प्रतिशत अंकों की आवश्यकता नहीं है, बल्कि केवल 45 प्रतिशत अंकों की आवश्यकता होगी।
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हालांकि, इस निर्णय ने कई विवादों को उत्पन्न किया, क्योंकि यह राष्ट्रीय नार्म के अनुसार नहीं है। शिक्षा विभाग और विशेषज्ञों के बीच तर्क और उलझने उत्पन्न हुईं, जहां कुछ लोग इसे एक प्रयास मानते हैं जो शिक्षा क्षेत्र में नई ऊर्जा और दिशा देने के लिए किया गया है, तो कुछ लोग इसे एक नकारात्मक कदम मानते हैं जो शिक्षा के मानकों को कमजोर कर सकता है।
CG TEACHER JOB इसके अलावा, शिक्षा क्षेत्र के अन्य पहलुओं को भी ध्यान में रखा जाना चाहिए, जैसे कि शिक्षकों की प्रशिक्षण की गुणवत्ता, पाठ्यक्रम की मानक गुणवत्ता, और शिक्षा प्रणाली के संचालन की भी। यह सभी मामले भी उतने ही महत्वपूर्ण हैं, जितना कि पासिंग मार्क्स की निर्धारण।
आखिरकार, नैतिक दायित्व यहाँ पर भी महत्वपूर्ण है। शिक्षा क्षेत्र में गुणवत्ता और प्रगति को बढ़ाने के लिए सभी निर्णयों को सावधानीपूर्वक और समझदारी से लेना चाहिए, ताकि यह समय बदलाव के लिए एक सकारात्मक और उपयुक्त कदम साबित हो सके।