AMBIKAPUR – सरगुजा पुलिस ने बुलेट साइलेंसर पर की कार्रवाई।
AMBIKAPUR – बीती रात, सरगुजा पुलिस ने अम्बिकापुर स्थित चौपाटी के पास लोगों के बुलेट के साइलेंसर की जांच की। चौपाटी के आसपास एक बहुत बड़ी संख्या में लोग बुलेट चला रहे थे, जिससे बुलेट की आवाज की तेजी बढ़ गई थी। इसे देखते हुए पुलिस ने साइलेंसर की जांच करने का निर्णय लिया।
AMBIKAPUR – साइलेंसर लगवाने से होती है ध्वनि प्रदूषण –
आमतौर पर इसका काम इंजन से निकलने वाले धुएं को फिल्टर कर बाहर करना होता है। सिर्फ इतना ही नहीं इसका दूसरा काम इंजन से निकलने वाली आवाज को दबाना होता है। लेकिन कुछ लोग बुलेट को लाउड करने के लिए साइलेंसर को आफ्टर मार्केट चेंज करवा लेते हैं। हालांकि इसे लगवाने पर चालक पर भारी नुकसान भी हो सकता है। ध्वनि प्रदूषण होने की वजह से ट्रैफिक पुलिस देखते ही चालान कर देती है।
बुलेट में केवल एक साइलेंसर से इंजन की आवाज को और इससे निकलने वाली धुएं को फिल्टर कर पाना आसान नहीं होता है। दरअसल अधिक सीसी की बाइक अथवा बुलेट होने के कारण सिर्फ एक एग्जॉस्ट से ऐसा कर पाना मुमकिन नहीं है। इसलिए कंपनियां महंगी और भारी-भरकम बाइक्स में दो साइलेंसर लगाती है। इसके अलावा कुछ लोग बाइक खरीदते समय लोगों के बीच अलग पहचान बनाने के लिए एग्जॉस्ट से निकलने वाली आवाज जरूर चेक करते हैं।
AMBIKAPUR – साइलेंसर लगवाने पर हो सकती है चलानी कार्रवाई –
हमारे देश में किसी भी बाइक और कार को मॉडिफाई कर अलग लुक देना गैर कानूनी है। ऐसा करने पर हजारों रुपये का चालान हो सकता है। सिर्फ इतना ही नहीं ट्रैफिक पुलिस भी बाइक राइडर्स को रोकने से पहले साइलेंसर पर जरूर ध्यान देते है। यह न केवल पर्यावरण के लिए हानिकारक है, बल्कि इससे ध्वनि प्रदूषण भी फैलती है। सड़क पर वाहन चलाने वाले अन्य लोग उन्हें देखकर डिस्ट्रैक्ट होते हैं. इस से दुर्घटना होने की संभावना बनी रहती है।